गुरुवार, 14 मार्च 2019

हालात

नाखुशी को भूल,
डगर देखते इतिबार करते बैठा था।
बदला वक़्त जमाने के साथ,
मेरा जख्म ताजा था।

-अमित चन्द्रवंशी "सुपा"

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